दूसरे को अपना बोझ मत बनने दो || आचार्य प्रशांत (2014)
वीडियो जानकारी:
शब्दयोग सत्संग
२ जुलाई २०१४
अद्वैत बोधस्थल, नॉएडा
प्रसंग:
दूसरें मन पर क्यों छाये रहते हैं?
मन हमेशा बोझिल क्यों रहता है?
मन के बोझ को हल्का कैसे करें?
शब्दयोग सत्संग
२ जुलाई २०१४
अद्वैत बोधस्थल, नॉएडा
प्रसंग:
दूसरें मन पर क्यों छाये रहते हैं?
मन हमेशा बोझिल क्यों रहता है?
मन के बोझ को हल्का कैसे करें?