बोध-साहित्य हड़बड़ी और उतावली में नहीं निपटाया जाता || आचार्य प्रशांत (2019)

  • 4 years ago
वीडियो जानकारी:
पार से उपहार शिविर , 14.12.19, ग्रेटर नॉएडा, उत्तर प्रदेश, भारत

प्रसंग:
~ बोध-साहित्य को पढ़ने का सही तरीका क्या है?
~ कौन सा बोध-साहित्य पढ़ना चाहिए?
~ क्या बोध-साहित्य को गुरु की संगति में ही पढ़ना चाहिए?


संगीत: मिलिंद दाते

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