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सवाईमाधोपुर. झांसी के महारानी लक्ष्मीबाई सरकारी मेडिकल कॉलेज में दस बच्चों की दर्दनाक हादसे के बाद रविवार को जिला अस्पताल में पड़ताल की। इस दौरान इक्के-दुक्के अग्निशमन यंत्र को छोडकऱ सभी फायर सिस्टम व यंत्र ठीकठाक मिले। हालांकि पत्रिका की पड़ताल के बाद अस्पताल में फायर सिस्टम व यंत्र सुरक्षित मिले लेकिन चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग व अग्निशमन विभाग लापरवाही बरत रहा है। दोनों ही विभागों ने सरकारी व निजी अस्पतालों का सर्वे व जांच नहीं की। जबकि कई निजी अस्पताल बेसमेंट में चल रहे है। जहां आग बुझाने व बाहर निकलने के लिए पर्याप्त इंतजाम नहीं है। यदि बेसमेंट में आगजनी की घटना होती है तो इसका जिम्मेदार कौन होगा।
फैक्ट फाइल...
-जिला अस्पताल में फायर सिस्टम के साथ लगे कुल अग्निशमन यंत्र-37
- सामान्य चिकित्सालय व मातृ एवं शिशु अस्पताल में लगे कुल अग्निशमन यंत्र-20
- फायर सिस्टम की अंतिम बार जांच- मार्च 2024

इनका कहना है...
जिला अस्पताल में फायर सिस्टम व अग्निशमन यंत्रों के हालातों को लेकर जल्द ही बैठक ली जाएगी। कमियों को दूर करने के निर्देश दिए जाएंगे।
डॉ.अमित गोयल, पीएमओ, सामान्य चिकित्सालय सवाईमाधोपुर

इनका कहना है..
जिला अस्पताल में फायर सिस्टम रिपेयर संबंध व जांच कर पीएमओ को रिपोर्ट दी थी। झांसी हादसे के बाद जिला अस्पताल व निजी अस्पतालों में एक बार फिर फायर सिस्टम व अग्निशमन यंत्रों की जांच की जाएगी।
कृष्णकांत मीना, सहायक अधिकारी, अग्निशमन सवाईमाधोपुर

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00:00I'll start with you, then you can do it.
00:09Next time, you can look down.
00:11The one in front?
00:12Yes.
00:15Who's that?

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