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वीडियो जानकारी: 06.06.24, अनौपचारिक सत्र, ग्रेटर नॉएडा

विवरण:
इस वीडियो में आचार्य जी ने दूध और डेयरी उत्पादों के सेवन के पीछे की हिंसा और उसके प्रभावों पर चर्चा की है। एक शिक्षक ने बताया कि वह अपने छात्रों को सिखाते हैं कि दूध और डेयरी उत्पाद हमारे लिए नहीं हैं, बल्कि ये हिंसा का हिस्सा हैं। इस विचार के कारण, स्कूल के स्टाफ और प्रिंसिपल ने उनके खिलाफ हो गए हैं।

आचार्य जी ने यह भी कहा कि समाज में अपनी बात रखने के लिए हमें साहस और आत्मबल की आवश्यकता है। उन्होंने बताया कि कैसे भैंसों को दूध देने के लिए ऑक्सीटोसिन का इंजेक्शन दिया जाता है, जिससे उन्हें भयानक दर्द होता है। उन्होंने यह स्पष्ट किया कि हमें सच्चाई को बताने के लिए प्रभावी तरीके अपनाने की आवश्यकता है, और हमें अपने विचारों को व्यक्त करने में संकोच नहीं करना चाहिए।

अंत में, उन्होंने यह कहा कि सच्चाई को जीतने के लिए केवल अच्छे इरादे से काम नहीं चलेगा, बल्कि हमें अपने ज्ञान और कौशल का भी उपयोग करना होगा।
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प्रसंग:
~ हिंसा क्या है?
~ जानवरों की हत्या को आम आदमी कैसे रोके?
~ जानवरों पर अत्याचार कैसे बंद करा जाए?
~ पशु कृषि में भारत सबसे आगे क्यों है?
~ समाज को कैसे जागरुक करें पशु हिंसा के बारे में?

संगीत: मिलिंद दाते
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