अपने आर्थिक लक्ष्य को पहचानें : Inspiration story

  • 5 years ago
समय,इस समस्त ब्रह्मांड के अस्तित्व की सबसे विशिष्ट इकाई,क्या कारण है आजकल हर व्यक्ति के पास समय की कमी हो गयी है?क्या कोई है जो ट्रैफिक में फंसकर ये कहे कि निकल जाने दो सबको मैं आराम से निकल जाऊँगा,क्या पुराने समय में लोगों के पास 24 की जगह 48 घंटे थे,वे अपने सभी चाहने वालों को भरपूर समय देते थे,लोगों के पास घड़ी ही नहीं थी जिस पर होती भी थी वही जल्दबाज़ी में रहता था.जो चीज़ हमारे पास होती है अक्सर उसी की कमी हमें महसूस होती है,पुराने समय मैं लोगों पर घड़ी नहीं थी तो अंदाज़े से ही चलते थे और बहुत वक़्त था उनके पास.आज हर कोई समय से बंधा है जरा सा भी लेट न हो जाये,आखिर ये जल्दबाज़ी उन्हें ले कहाँ जा रही है,1 आदमी जो मुझे 4 साल पहले 6 बजे रोज बस मैं मिलता था वो तो आज भी रोज़ बस मैं 6 बजे ही मिलता है,अरे हाँ वो टीचर है न इसीलिए.आखिर इंसान समय से जीत नहीं सकता बच्चों के पास और बुजुर्गों के पास इतना समय कैसे होता है क्योंकि उनकी उम्र नियंत्रण किये हुए है उनकी जरूरतों पर,बच्चा वर्तमान में जी रहा है इसलिए खुश है,बुजुर्ग अतीत में जी रहा है इसलिए थोड़ा दुखी है उन पुरानी यादों को लेकर.कि काश वो समय लौट आये.लेकिन युवा क्यों परेशान है क्योंकि वो न पास्ट में जी रहा है न प्रेजेंट में,उसे तो भविष्य की चिंता सताए जा रही है कि कल को उसकी शादी होगी,बीबी बच्चे होंगे,नोकरी कैसे मिलेगी,इसी उधेड़बुन में वो अपना वर्तमान भूलकर सिर्फ भविष्य को सोच सोचकर परेशान है.यदि कुदरत ने मनुष्य की आयु 100 वर्ष तय की है तो इसमें आधी जिंदगी रात्रि में चली जाती है बची आधी से भी आधी बचपन और बुढ़ापे में चली जाती है और बाकी बचे 25 वर्षों में मनुष्य को रोग और वियोग के अनेक दुख झेलने पड़ते हैं और नोकरी चाकरी करनी पड़ती है,इसलिए हम कह सकते हैं कि जलतरंग के समान चंचल इस जीवन में इंसान को जरा भी सुख नहीं है.समय अनमोल है,क्योंकि वास्तव में समय ही संसार की एक अनोखी ऐसी चीज़ है जो सीमित है,अगर आप दौलत गँवा दें तो दुबारा कमा सकते हैं,घर गँवा दें तो नया बना सकते हैं लेकिन समय गँवा दिया तो आपको वही समय दुबारा नहीं मिल सकता.अगर जीवन में कुछ भी अनोखा करना है या बनना है तो ये जरूरी है कि हम समय का सर्वश्रेष्ठ उपयोग करना सीख जाएं,ताकि इस धरती पर अपने उसी सीमित समय में जो हासिल करना चाहते हैं जैसे दौलत,शोहरत सुख या सफलता उसे प्राप्त कर सकें.कुदरत ने किसी को सुंदरता ज्यादा दी किसी को कम,किसी को दौलत ज्यादा दी किसी को कम लेकिन समय सबको बराबर दिया,असल में यही वो दौलत है जिसे आप बैंक में भले जमा नहीं कर सकते लेकिन इसकी कीमत बहुत है.ये बात भी सही है कि समय का गुज़रना किसी के हाथ में नहीं लेकिन इसका प्रबंधन जरूर आपके हाथ में है.कैलेंडर से धोखा न खाएं,साल भर में केवल उतने ही दिन होते हैं जिनका आप उपयोग करते हैं एक इंसान साल भर में केवल एक सप्ताह का मूल्य प्राप्त करता है जबकि दूसरा व्यक्ति एक सप्ताह में ही पूरे साल का मूल्य प्राप्त करता है,फर्क उसके समय के प्रबंधन का ही है.समय आपके जीवन का सिक्का है,यह आपके पास मौजूद ऐसा सिक्का है जिसे सिर्फ आप ही तय करते हो कि इसे कैसे खर्च करना है,वरना और लोग इसे खर्च कर ही रहे हैं.कितनी अजीब बात है आधुनिक मनुष्य उन चीजों को खरीदने लायक पैसा कमाने में जुटा रहता है जिनका आनंद वो व्यस्तता के कारण नहीं ले सकता.समय ही धन है ऐसा कहा जाता है लेकिन समय तो धन है ही नहीं जो इंसान बेरोजगार बैठा है वो अपने 4 घंटे दे दे तो क्या कोई उसे उन घंटो का बिना काम के पैसा दे देगा,समय सिर्फ संभावित धन है अगर कोई इ

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